











माँ बराही के दिव्य चरणों में
झारखंड के पलामू ज़िले के हुसैनाबाद में स्थित बराही धाम एक प्राचीन और चमत्कारी शक्तिपीठ है, जो माँ दुर्गा के उग्र और रक्षक रूप “माँ बराही” को समर्पित है। यहाँ आकर भक्तों को न केवल आत्मिक शांति मिलती है, बल्कि चमत्कारिक अनुभव भी प्राप्त होते हैं। बराही धाम केवल एक मंदिर नहीं है, यह वह दिव्य स्थल है जहाँ भक्त और माँ बराही के बीच आत्मिक संवाद होता है। यह स्थान श्रद्धा, विश्वास और भक्ति का जीवंत प्रतीक है। यहाँ की हर शिला, हर पेड़, और हर श्वास में माँ की कृपा और उपस्थिति को महसूस किया जा सकता है।

आगामी धार्मिक आयोजनों की जानकारी
बराही धाम में समय-समय पर आयोजित होने वाले धार्मिक आयोजनों जैसे नवरात्रि, शिवरात्रि, जन्माष्टमी, रामनवमी आदि की विस्तृत जानकारी पहले से साझा की जाती है। इससे श्रद्धालु पूर्व तैयारी कर सकते हैं और अधिक श्रद्धा व उत्साह के साथ इन आयोजनों में भाग ले सकते हैं।

पर्व, मेले और उत्सवों की तिथियाँ
वर्ष भर होने वाले विशेष पर्वों, धार्मिक मेलों और उत्सवों की तिथियाँ इस अनुभाग में पहले से दी जाती हैं। यहाँ आप जान सकते हैं कि किस दिन कौन सा पर्व मनाया जाएगा, क्या विशेष गतिविधियाँ होंगी, और क्या समय-सारणी रहेगी जिससे भक्तगण योजना बना सकें।

मासिक / साप्ताहिक आरती शेड्यूल
श्रद्धालुओं की सुविधा हेतु मंदिर में होने वाली दैनिक, साप्ताहिक और मासिक आरतियों का निर्धारित शेड्यूल इस अनुभाग में प्रदर्शित किया जाता है। इसमें आरती के समय, प्रकार (माँ दुर्गा, हनुमान जी आदि)और दिन विशेष पर होने वाली विशेष पूजाओं की जानकारी शामिल होती है।

आगामी धार्मिक आयोजनों की जानकारी
बराही धाम में समय-समय पर आयोजित होने वाले धार्मिक आयोजनों जैसे नवरात्रि, शिवरात्रि, जन्माष्टमी, रामनवमी आदि की विस्तृत जानकारी पहले से साझा की जाती है। इससे श्रद्धालु पूर्व तैयारी कर सकते हैं और अधिक श्रद्धा व उत्साह के साथ इन आयोजनों में भाग ले सकते हैं।

पर्व, मेले और उत्सवों की तिथियाँ
वर्ष भर होने वाले विशेष पर्वों, धार्मिक मेलों और उत्सवों की तिथियाँ इस अनुभाग में पहले से दी जाती हैं। यहाँ आप जान सकते हैं कि किस दिन कौन सा पर्व मनाया जाएगा, क्या विशेष गतिविधियाँ होंगी, और क्या समय-सारणी रहेगी जिससे भक्तगण योजना बना सकें।

मासिक / साप्ताहिक आरती शेड्यूल
श्रद्धालुओं की सुविधा हेतु मंदिर में होने वाली दैनिक, साप्ताहिक और मासिक आरतियों का निर्धारित शेड्यूल इस अनुभाग में प्रदर्शित किया जाता है। इसमें आरती के समय, प्रकार (माँ दुर्गा, हनुमान जी आदि)और दिन विशेष पर होने वाली विशेष पूजाओं की जानकारी शामिल होती है।
सेवाएँ व अनुष्ठान

बराही धाम में प्रतिदिन माँ बराही की भव्य और विधिवत पूजा की जाती है, जिसमें श्रद्धालु शांत वातावरण में बैठकर माँ के दर्शन कर सकते हैं और आध्यात्मिक ऊर्जा का अनुभव करते हैं। यहाँ पर दैनिक पूजा के साथ-साथ विशेष अनुष्ठानों का आयोजन भी होता है, जैसे महाशिवरात्रि, नवरात्र, गुरुवार की विशेष पूजा, और अन्य पर्वों पर भजन-कीर्तन व जागरण का आयोजन किया जाता है।
धार्मिक परंपराओं के अनुसार यहाँ यज्ञ, हवन और पूजा-पाठ की समुचित व्यवस्था उपलब्ध है, जिन्हें अनुभवी पंडितों द्वारा विधिपूर्वक संपन्न किया जाता है। भक्तजन परिवार सहित आकर अपने नाम से पूजा करवा सकते हैं। इसके अतिरिक्त, भक्तों की सेवा में भंडारा (निःशुल्क प्रसाद वितरण) का आयोजन नियमित रूप से होता है, जहाँ सैकड़ों श्रद्धालु प्रसाद ग्रहण करते हैं और पुण्य लाभ अर्जित करते हैं।
बराही धाम न केवल पूजा-स्थल है, बल्कि यह विवाह, मुंडन संस्कार, नामकरण जैसे सांस्कारिक कार्यों के लिए भी एक पवित्र और सकारात्मक स्थल प्रदान करता है। परिसर में इन आयोजनों के लिए विशिष्ट स्थान, पंडाल, व बैठने की व्यवस्था भी उपलब्ध कराई जाती है, जिससे यह स्थान पारिवारिक धार्मिक अनुष्ठानों हेतु भी उपयुक्त बनता है।

मुख्य आकर्षण

यह मंदिर माँ दुर्गा की 551 फीट ऊँची दिव्य प्रतिमा के साथ स्थापित होगा, जो विश्व की सबसे ऊँची दुर्गा प्रतिमा होगी। श्रद्धा, शक्ति और संस्कृति का यह संगम श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ऊर्जा और भव्यता का अद्वितीय अनुभव प्रदान करेगा।

सूर्य से लेकर केतु तक नवग्रहों की 151 फीट ऊँची प्रतिमाएँ यहाँ स्थापित की जाएँगी। यह मंदिर ग्रह दोष निवारण, ज्योतिषीय साधना और मानसिक शांति प्राप्ति का एक महत्वपूर्ण तीर्थस्थल होगा।

यहाँ संकटमोचन हनुमान जी की 105 फीट ऊँची मूर्ति स्थापित की जाएगी, जो साहस, भक्ति और निष्ठा का प्रतीक बनेगी। यह स्थल भक्तों को ऊर्जा, प्रेरणा और आत्मबल प्रदान करेगा, विशेषकर मंगलवार और शनिवार को विशेष श्रद्धालु दर्शन हेतु पहुँचेंगे।

मुख्य आकर्षण

यह मंदिर माँ दुर्गा की 551 फीट ऊँची दिव्य प्रतिमा के साथ स्थापित होगा, जो विश्व की सबसे ऊँची दुर्गा प्रतिमा होगी। श्रद्धा, शक्ति और संस्कृति का यह संगम श्रद्धालुओं को आध्यात्मिक ऊर्जा और भव्यता का अद्वितीय अनुभव प्रदान करेगा।

सूर्य से लेकर केतु तक नवग्रहों की 151 फीट ऊँची प्रतिमाएँ यहाँ स्थापित की जाएँगी। यह मंदिर ग्रह दोष निवारण, ज्योतिषीय साधना और मानसिक शांति प्राप्ति का एक महत्वपूर्ण तीर्थस्थल होगा।

यहाँ संकटमोचन हनुमान जी की 105 फीट ऊँची मूर्ति स्थापित की जाएगी, जो साहस, भक्ति और निष्ठा का प्रतीक बनेगी। यह स्थल भक्तों को ऊर्जा, प्रेरणा और आत्मबल प्रदान करेगा, विशेषकर मंगलवार और शनिवार को विशेष श्रद्धालु दर्शन हेतु पहुँचेंगे।
आवागमन

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निकटतम रेलवे स्टेशन: बराही धाम, झारखंड पहुँचने के लिए कई निकटवर्ती रेलवे स्टेशन उपलब्ध हैं। इनमें सबसे नज़दीकी स्टेशन डाल्टनगंज (Medininagar) है, जो बराही धाम से लगभग 35–40 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इसके अलावा, जपला स्टेशन भी क़रीब 30–35 किलोमीटर दूर है, जहाँ से टैक्सी या लोकल ऑटो की सुविधा उपलब्ध रहती है। अन्य प्रमुख रेलवे स्टेशनों में गढ़वा रोड (60–70 किमी), डिहरी ऑन सोन (80–90 किमी), औरंगाबाद (बिहार) (70–80 किमी), और गया जंक्शन (100–120 किमी) शामिल हैं। इन सभी स्थानों से बराही धाम तक पहुँचने के लिए टैक्सी, ऑटो या लोकल बस की सुविधाएं आसानी से मिल जाती हैं, जिससे श्रद्धालुओं और पर्यटकों को यात्रा में किसी प्रकार की असुविधा नहीं होती।
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निकटतम हवाई अड्डा: बराही धाम पहुँचने के लिए सबसे निकटवर्ती हवाई अड्डा बिरसा मुंडा एयरपोर्ट, रांची है, जो लगभग 180–200 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। रांची एयरपोर्ट से आप ट्रेन या टैक्सी के माध्यम से डाल्टनगंज पहुँच सकते हैं, जो बराही धाम का सबसे नज़दीकी प्रमुख रेलवे स्टेशन है। इसके अलावा, अन्य प्रमुख हवाई अड्डों में लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा, वाराणसी (लगभग 200–220 किमी) और लोकनायक जयप्रकाश नारायण एयरपोर्ट, पटना (लगभग 200–230 किमी) शामिल हैं। इन हवाई अड्डों से भी ट्रेन, बस या टैक्सी के ज़रिए बराही धाम तक पहुँचना सुविधाजनक है।
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सड़क मार्ग: आप डाल्टनगंज से छत्तरपुर रोड होते हुए बराही धाम जा सकते हैं। रास्ते में सुंदर पहाड़ी दृश्य और हरियाली देखने को मिलती है।

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6:00 AM to 5:00 PM

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Hotel Riddhi Siddhi
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Hotel Palace Inn
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Hotel Megha
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बराही धाम के पास कुछ धर्मशाला भी हैं जहाँ रुकने की सीमित सुविधा है।

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Betla National Park: बराही धाम से लगभग 45 किमी दूर। टाइगर रिज़र्व, जंगल सफारी, और हाथियों का दीदार।
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Palamu Fort (पुराना और नया किला): बहुत सुंदर ऐतिहासिक स्थल। मुग़ल काल और राजपूत स्थापत्य का अद्भुत मिश्रण।
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Lodh Falls: झारखंड का सबसे ऊँचा जलप्रपात। मानसून में देखने लायक।
आवागमन
बराही धाम पहुँचने के लिए डाल्टनगंज (मेदिनीनगर) नज़दीकी प्रमुख शहर है। यहाँ से बस या निजी वाहन से बराही धाम पहुँचा जा सकता है। यह स्थान जंगलों और पहाड़ियों के बीच बसा हुआ है, जो इसे और अधिक शांत व आध्यात्मिक बनाता है।
अगर आप चाहें, तो मैं बराही धाम की यात्रा योजना, दर्शन समय, या वहां के आस-पास घूमने लायक जगहों की जानकारी भी दे सकता हूँ।

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निकटतम रेलवे स्टेशन: बराही धाम, झारखंड पहुँचने के लिए कई निकटवर्ती रेलवे स्टेशन उपलब्ध हैं। इनमें सबसे नज़दीकी स्टेशन डाल्टनगंज (Medininagar) है, जो बराही धाम से लगभग 35–40 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। इसके अलावा, जपला स्टेशन भी क़रीब 30–35 किलोमीटर दूर है, जहाँ से टैक्सी या लोकल ऑटो की सुविधा उपलब्ध रहती है। अन्य प्रमुख रेलवे स्टेशनों में गढ़वा रोड (60–70 किमी), डिहरी ऑन सोन (80–90 किमी), औरंगाबाद (बिहार) (70–80 किमी), और गया जंक्शन (100–120 किमी) शामिल हैं। इन सभी स्थानों से बराही धाम तक पहुँचने के लिए टैक्सी, ऑटो या लोकल बस की सुविधाएं आसानी से मिल जाती हैं, जिससे श्रद्धालुओं और पर्यटकों को यात्रा में किसी प्रकार की असुविधा नहीं होती।
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बराही धाम पहुँचने के लिए सबसे निकटवर्ती हवाई अड्डा बिरसा मुंडा एयरपोर्ट, रांची है, जो लगभग 180–200 किलोमीटर की दूरी पर स्थित है। रांची एयरपोर्ट से आप ट्रेन या टैक्सी के माध्यम से डाल्टनगंज पहुँच सकते हैं, जो बराही धाम का सबसे नज़दीकी प्रमुख रेलवे स्टेशन है। इसके अलावा, अन्य प्रमुख हवाई अड्डों में लाल बहादुर शास्त्री अंतरराष्ट्रीय हवाई अड्डा, वाराणसी (लगभग 200–220 किमी) और लोकनायक जयप्रकाश नारायण एयरपोर्ट, पटना (लगभग 200–230 किमी) शामिल हैं। इन हवाई अड्डों से भी ट्रेन, बस या टैक्सी के ज़रिए बराही धाम तक पहुँचना सुविधाजनक है।
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सड़क मार्ग: आप डाल्टनगंज से छत्तरपुर रोड होते हुए बराही धाम जा सकते हैं। रास्ते में सुंदर पहाड़ी दृश्य और हरियाली देखने को मिलती है।

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6:00 AM to 5:00 PM

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Hotel Riddhi Siddhi
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Hotel Palace Inn
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Hotel Megha
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बराही धाम के पास कुछ धर्मशाला भी हैं जहाँ रुकने की सीमित सुविधा है।

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Betla National Park: बराही धाम से लगभग 45 किमी दूर। टाइगर रिज़र्व, जंगल सफारी, और हाथियों का दीदार।
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Palamu Fort (पुराना और नया किला): बहुत सुंदर ऐतिहासिक स्थल। मुग़ल काल और राजपूत स्थापत्य का अद्भुत मिश्रण।
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Lodh Falls: झारखंड का सबसे ऊँचा जलप्रपात। मानसून में देखने लायक।

बराही धाम का उद्देश्य

बराही धाम भारतीय धर्म और संस्कृति के मूल तत्वों को जन-जन तक पहुँचाने का माध्यम बनेगा। यहाँ आयोजित पूजा-पाठ, अनुष्ठान और सांस्कृतिक कार्यक्रमों के ज़रिए आध्यात्मिक शिक्षा, सेवा भाव और सांस्कृतिक जागरूकता को बढ़ावा मिलेगा।

यह धाम अपनी भव्यता, विशाल प्रतिमाओं और दिव्यता के कारण एक प्रमुख धार्मिक पर्यटन केंद्र के रूप में विकसित होगा। इससे देश-विदेश से श्रद्धालु यहाँ आएँगे, जिससे क्षेत्रीय विकास और स्थानीय व्यवसायों को गति मिलेगी।

बराही धाम का निर्माण, संचालन और उससे जुड़ी सेवाओं के ज़रिए हज़ारों लोगों के लिए प्रत्यक्ष और अप्रत्यक्ष रोज़गार के अवसर उत्पन्न होंगे। स्थानीय कारीगर, पुजारी, सुरक्षा कर्मी, विक्रेता व सेवा प्रदाता इससे लाभान्वित होंगे।

यह धाम भावी पीढ़ियों के लिए आस्था, परंपरा और राष्ट्र गौरव का प्रतीक बनेगा। इसके माध्यम से युवा वर्ग धर्म, सेवा और संस्कृति की महत्ता को समझेगा और भारतीय मूल्यों से जुड़ाव बनाए रखेगा।
भक्तों की आवाज़ (Devotee Testimonials)




दान करें – बराही धाम के पुनर्निर्माण और सेवा में अपना योगदान दें
बराही धाम एक दिव्य स्थल है जहाँ श्रद्धा, संस्कृति और सेवा का संगम होता है। यह केवल एक मंदिर नहीं, बल्कि आने वाली पीढ़ियों के लिए एक प्रेरणादायक तीर्थ है। इस भव्य प्रोजेक्ट के निर्माण और संचालन में आपका सहयोग अत्यंत आवश्यक है। आप अपने दान के माध्यम से इस महान कार्य में सहभागी बन सकते हैं।
आपका दिया गया दान निम्नलिखित कार्यों में प्रयोग किया जाएगा:
माँ दुर्गा, नवग्रह और हनुमान मंदिरों के निर्माण
यज्ञशाला, भंडारा स्थल और धर्मशाला जैसी सुविधाओं के विकास
पौधारोपण, स्वच्छता और पर्यावरणीय संरक्षण
निःशुल्क चिकित्सा शिविर, शिक्षा और सामाजिक सेवा कार्यक्रम
जरूरतमंदों के लिए भोजन, वस्त्र और सहायता
हर छोटा-बड़ा दान माँ बराही की कृपा को पाने का माध्यम बनता है।
👉 ऑनलाइन दान करें: (यहाँ Payment Gateway लिंक/QR कोड जोड़ा जा सकता है)
👉 नेट बैंकिंग / UPI / चेक द्वारा योगदान: (यहाँ बैंक विवरण दिया जा सकता है)
👉 दान रसीद एवं आयकर छूट (80G) की सुविधा उपलब्ध है।
“आपका सहयोग, किसी की आस्था का आधार बन सकता है।”
